निर्माणाधीन सैन्यधाम के कार्यों की प्रगति की सीएम ने की समीक्षा, अधिकारियों को दिए ये निर्देश…

देवभूमि के नाम से मशहूर उत्तराखंड जहां देवी देवताओं के वास के लिए दुनिया में अपनी आध्यात्मिक पहचान रखता है तो वहीं ये सैनिकों और उनकी शहादतों और जज्बों के कारण वीरों की भूमि के नाम से भी पहचान जाता है। देवभूमि में जहां चार धाम है वहीं पांचवें धाम के रूप में सैन्यधाम बनाया जा रहा है। जिसका काफी हद तक काम पूरा हो गया है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आज देहरादून में निर्माणाधीन सैन्यधाम के कार्यों की प्रगति की समीक्षा कर अधिकारियों को कई बड़े निर्देश भी दिए है। आइए जानते है इस धाम का निर्माण कब तक हो जाएगा और यहां कुछ खास होगा।

मिली जानकारी के अनुसार राजधानी देहरादून के गुनियाल गांव में सैन्यधाम का निर्माण हो रहा है। 50 बीघा भूमि पर सैन्यधाम को 63 करोड़ रुपये की लागत से इसे बनाया जा रहा है। सैन्यधाम निर्माण के लिए प्रदेश के 1734 शहीद सैनिकों के आंगन से कलश में मिट्टी लाई गई है। इसके निर्माण के लिए 15 नवंबर को गढ़वाल मंडल के सवाड गांव और कुमाऊ मंडल के मुनाकोट गांव से शहीद सम्मान यात्रा शुरू की गई थी। जिसके बाद यहां से शहीदों के आंगन की मिट्टी एकत्र की गई। शहीदों के आंगन से लाई गई मिट्टी को एक बड़े कलश में रखा गया। इसके बाद इसे सैन्यधाम में बनने वाली अमर जवान ज्योति की नींव में रखा जाएगा।

बताया जा रहा है कि पांचवें धाम सैन्यधाम में द्वितीय विश्वयुद्ध से लेकर अब तक उत्तराखंड के जितने भी सैनिक शहीद हुए हैं, उन सबके चित्र लगाए जाएंगे। इसके साथ ही उन सभी के बारे में जानकारी भी दी जाएगी। इसके अलावा सैन्य धाम में लाइट एंड साउंड सिस्टम, टैंक, जहाज के साथ ही अन्य सैन्य उपकरण भी रखे जाएंगे। मुख्यमंत्री ने सैनिक कल्याण विभाग को निर्देश दिए कि योजना को माह फरवरी-2024 तक पूर्ण करने हेतु आवश्यक धनराशि कार्यदायी संस्था उत्तराखण्ड पेयजल निगम को शीघ्र उपलब्ध करायी जाए।वहीं उन्होंने उत्तराखण्ड पेयजल निगम के प्रबंध निदेशक रणवीर सिंह चौहान को फरवरी 2024 तक योजना को पूरा करने के निर्देश दिए।

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